
हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) से स्मॉल सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल (SSLV) के निर्माण और व्यवसायीकरण के लिए ₹511 करोड़ का टेक्नोलॉजी ट्रांसफर (ToT) समझौता प्राप्त किया है। यह महत्वपूर्ण समझौता IN-SPACe (भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र) द्वारा आयोजित एक सफल निविदा प्रक्रिया के बाद घोषित किया गया।
SSLV एक तीन-चरणों वाला प्रक्षेपण यान है, जिसे 500 किलोग्राम तक के उपग्रहों को लो अर्थ ऑर्बिट (LEO) में स्थापित करने के लिए विकसित किया गया है। इसका मुख्य उद्देश्य है — भारत में निजी क्षेत्र की भागीदारी को सशक्त बनाना और एक मज़बूत वाणिज्यिक प्रक्षेपण तंत्र का निर्माण करना।
इस पहल से ISRO को अब अनुसंधान एवं विकास (R&D) जैसे नवाचारपूर्ण क्षेत्रों पर अधिक ध्यान केंद्रित करने का अवसर मिलेगा, जबकि उद्योग जगत नियमित प्रक्षेपण यानों का निर्माण और संचालन करेगा। यह भारत के अंतरिक्ष क्षेत्र को वैश्विक प्रतिस्पर्धा में अग्रणी बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
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