हाल ही में नीति आयोग ने इंस्टीट्यूट ऑफ कॉम्पिटिटिवनेस के साथ संयुक्त रूप से (निर्यात तत्परता सूचकांक-ईपीआई)Export Preparedness Index 2020 जारी किया है।
प्रमुख बिंदु
- राज्यों की निर्यात तत्परता का मूल्यांकन करने के उद्देश्य से तैयार किये गए निर्यात तत्परता सूचकांक (EPI) 2020 में गुजरात को पहला स्थान प्राप्त हुआ है। इस सूचकांक में गुजरात के बाद दूसरा और तीसरा स्थान क्रमशः महाराष्ट्र और तमिलनाडु को मिला है।
- शीर्ष 10 में स्थान प्राप्त करने वाले अन्य राज्यों में राजस्थान, ओडिशा, तेलंगाना, हरियाणा, छत्तीसगढ़, कर्नाटक और केरल शामिल हैं।
- समग्र तौर पर निर्यात तत्परता के मामले में भारत के तटीय राज्यों का प्रदर्शन सबसे अच्छा रहा और इस सूचकांक में शीर्ष 10 राज्यों में से 6 तटीय राज्य हैं।
- पूरी तरह से भू-सीमा से घिरे हुए राज्यों में राजस्थान ने सबसे अच्छा प्रदर्शन किया है, जिसके बाद तेलंगाना और हरियाणा का स्थान है।
- हिमालयी राज्यों में उत्तराखंड को पहला स्थान, जबकि त्रिपुरा और हिमाचल प्रदेश क्रमशः दूसरा और तीसरा स्थान प्राप्त हुआ है।
- रिपोर्ट में कहा गया है कि वर्तमान में, भारत के 70 प्रतिशत निर्यात में पाँच राज्यों- महाराष्ट्र, गुजरात, कर्नाटक, तमिलनाडु और तेलंगाना का वर्चस्व मौजूद है।
- रिपोर्ट यह भी रेखांकित करती है कि निर्यात अनुकूलन और तत्परता केवल समृद्ध राज्यों तक ही सीमित नहीं है। कई ऐसे भी राज्य हैं जो उतने अधिक समृद्ध नहीं हैं, किंतु उन्होंने निर्यात को बढ़ावा देने के लिये कई उपाय आरंभ किये हैं।
कोरोनावायरस महामारी ने वैश्विक व्यापार परिदृश्य में व्यापक पैमाने पर बदलाव किए हैं। कोरोना काल में विश्व की प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में उत्पादन का कार्य लगभग बंद हो गया है, जिसके कारण वैश्विक स्तर पर निर्यात काफीअधिक प्रभावी हुआ है।(व्यापार और विकास पर संयुक्त राष्ट्र सम्मेलन- UNCTAD) द्वारा किया गया एक अध्ययन दर्शाता है कि महामारी काल के दौरान वैश्विक स्तर पर नियत में कुल 50 बिलियन डॉलर की कमी आई है। वायरस के प्रभाव अप्रैल, 2020 में भारत के निर्यात में 60 प्रतिशत की कमी आई है।