(Coronavirus) के संक्रमण के चलते लॉकडाउन (Lockdown) के दौरान बिहार में बिजली विभाग (Electricity Department of Bihar) ने रिकॉर्ड तोड़ा है. राज्य में सभी उधोग, धंधे और कृषि का काम पूरी तरह से बंद होने के बावजूद बिजली की खपत का आंकड़ा प्रति महीने 5500 मेगावॉट तक पहुंच गया. इससे बिहार के बिजली विभाग में उत्साह का माहौल है.
राज्य में प्रति व्यक्ति बिजली की खपत
किसी राज्य का आर्थिक विकास तभी सम्भव है जब वहां भरपूर मात्रा में बिजली पैदा होती हो. बिहार बिजली के क्षेत्र में लगातार बेहतर मुकाम हासिल करता जा रहा है. साल 2012-13 में बिहार में प्रति व्यक्ति बिजली खपत मात्र 145 यूनिट थी जो आज की तारीख में बढ़कर 258 यूनिट हो गई है. लॉकडाउन में भी बिजली खपत में बिहार पिछले साल का रिकॉर्ड तोड़ने की मुकाम पर पहुंचने को है.
बिजली उत्पादन बढ़ोतरी की सम्भावना
एक अनुमान के अनुसार वर्ष 2020-21 में 2697 करोड़ यूनिट तो 2021-22 में 3230 करोड़ यूनिट बिजली खपत होने का अनुमान है. बिजली देने के लिए सरकार ने ना केवल कोयला से बिजली उत्पादन पर काम किया है बल्कि पनबिजली सौर ऊर्जा पर जोर दिया जा रहा है. अगले कुछ सालों में 5733 मेगावॉट बिजली कोयले से उत्पादित होगी जबकि पनबिजली 729 मेगावाट, सौर ऊर्जा 1338 मेगावाट तो पवन ऊर्जा 1558 मेगावाट बिजली होगी.